Agneepath Scheme In Hindi – Agneeveer Scheme 2022
Agneepath Scheme In Hindi – Agneeveer Scheme 2022 अग्निपथ से अग्निवीर सम्पूर्ण जानकारी हिंदी में
भारतीय सेना से युवाओं को जोड़ने के लिए केंद्र सरकार ने सेना सुधारों को लेकर बड़ा कदम उठाया है। इन सुधारों में प्रमुख रूप से “अग्निपथ से अग्निवीर” योजना के जरिए कम समय के लिए युवाओं को सेना में शामिल किया जाएगा, जिसकी अवधि चार साल की होगी। इस भर्ती योजना का प्रारूप भूतपूर्व चीफ डिफेंस स्टाफ जनरल वीपीन रावत ने किया था। इसका उद्देश्य मुख्य रूप से सेना की औसत आयु कम करना एवं रक्षा बजट का वेतन और पेंशन मद में कटौती करना है। यह टूर आॅफ ड्यूटी प्रोग्राम का हिस्सा है जिसको पी एम मोदी का ड्रीम प्रोजेक्ट भी माना जाता है
विशेषताएं
4 साल के लिए युवा सैनिकों की भर्ती होगी। • उम्र सीमा 17•5 से 21 वर्ष होगी विरोध के कारण अधिकतम आयु 23 वर्ष कर दी गयी है। • शुरुआती वेतन 30 हजार तथा चौथे साल में वेतन 40 हजार होगी। वेतन का 30 फीसदी हिस्सा सेवा निधि में जमा होंगे जिसमें सरकार का योगदान भी 30 फीसदी होगा। • चार साल की सेवा के बाद अग्निवीर को 11•71 लाख रुपए का पैकेज दिया जाएगा जो टैक्स फ्री होगा • 10 वीं और 12वीं पास विद्यार्थी आवेदन के योग्य होगा • चार साल की सेवा के बाद योग्यता के आधार पर 25% अग्निवीर को सेना में लंबी अवधि के लिए सेवा का मौका मिलेगा। • अग्निवीरों को किसी भी प्रकार का पेंशन नहीं दिया जाएगा। • अग्निवीरों को 48 लाख का बीमा कवर भी प्राप्त होगा। सेवा काल में मृत्यु होने पर 44 लाख की अतिरिक्त अनुग्रह राशि परिवार को मिलेगी साथ ही बचे सेवा अवधि की वेतन एवं सेवा निधि की रकम परिवार को मिलेगी। • अग्निवीर के तहत सेना के तीनों अंग में लड़कियों को भी शामिल किया जाएगा। • अग्निवीर योजना के तहत 46 हजार अग्निवीरों की भर्ती सालाना होगी। • चार साल की सेवा के बाद विभिन्न क्षेत्र में कार्य के लिए प्राथमिकता एवं अलग से आरक्षण का प्रावधान। • सस्ते दर पर लोन की सुविधा व्यवसाय करने के लिए। • चार साल की सेवा के बाद इनको डिप्लोमा सर्टिफिकेट कौशल योग्यता के आधार पर दिया जाएगा। |
भारतीय सेना में आॅफिसर रैंक से नीचे के सैनिकों के लिए नयी भर्ती योजना का नाम अग्निपथ दिया गया है, जिसके तहत चार साल के लिए सैनिकों की बहाली की जाएगी इन सैनिकों को अलग रैंक दी जाएगी इस भर्ती से रेजिमेंट प्रणाली प्रभावित नहीं होगी इसका स्वरूप राष्ट्रीय होगा। इस योजना के माध्यम से सरकार पेंशन बिल को कम करना चाहती है जो वर्तमान समय में 1•19696 लाख करोड़ रुपए है।
वर्तमान समय में बदलते परिवेश और सोच के कारण युद्ध लड़ने के तरिके में भी बदलाव आया है अब परंपरागत युद्ध प्रणाली के बदले मशीनों के द्वारा युद्ध लड़ाई की शुरुआत हो गई है इसको ध्यान में रखते हुए सैन्य संसाधनों का आधुनिकीकरण अत्यंत आवश्यक हो गया है जिसमें व्यापक पूंजी की आवश्यकता है जो इन मदों में कटौती करके पुरी की जा सकती है।
अग्निवीर की तरह सेना में भर्ती विश्व के अन्य देशों में पहले से ही प्रचलित है जो निम्न है।
1. अमेरिका: इस देश में भर्तियां ऐच्छिक आधार पर होती है। उन्हें पहले चार साल के लिए सेवा में लिया जाता है फिर चार साल का एक्सटेंशन दिया जाता है। छोटे अवधि वाले सैनिक को रिटायर होने पर भत्ता दिया जाता है ये पेंशन के हकदार नहीं होते है। 2. चीन: इस देश में अनिवार्य रूप से सैनिकों की बहाली की जाती है 40 दिन के प्रशिक्षण के बाद दो साल सेवा का मौका दिया जाता है। इसके बाद कर में छूट तथा अन्य लाभ दिए जाते है। 3. फ्रांस: इस देश में अनुबंध के आधार पर भर्ती होती है जो 1 साल से 5 साल तक के होते है। 4. रूस: इस देश में 1 वर्ष के प्रशिक्षण के बाद 1 साल सेवा का मौका देकर उन्हें रिजर्व में रख लिया जाता है, फिर इनमें से ही नियमित सैनिकों की बहाली की जाती है। रूस का यह भर्ती माॅडल हाइब्रिड भर्ती माॅडल कहलाता है। 5. इजराइल: इस देश में पुरूषों को 32 महीने और महिलाओं को 24 महीने की न्यूनतम सेवा सेना में देना जरूरी होता है। इनमें से 10% को ही सेना में 7 साल के लिए शामिल किया जाता है। 12 वर्ष की सेवा के बाद वे पेंशन के हकदार हो जाते है। 6. मिश्र: 18 से 30 वर्ष के प्रत्येक युवा को 18 महिने से 36 महिने की सेवा सेना में देनी होती है। 7. वियतनाम: 18 से 27 वर्ष के युवाओं के लिए 24 से 36 महीने की सैन्य सेवा का नियम है। 8. यूक्रेन: 20 से 27 साल के युवाओं के लिए 12 से 24 महीने के लिए सैन्य सेवा देने का प्रावधान मौजूद है। उपरोक्त के अतिरिक्त विश्व के अन्य देश भी है जहां पर 1 साल या उससे कम या उससे अधिक समय के लिए युवाओं को अनुबंध के तौर पर शामिल किया जाता है। यथा स्वीडन, नार्वे, उत्तर कोरिया, मोरक्को, चाड, ग्रीस, तुर्की, अल्जीरिया, बोलिविया, कोलंबिया, एस्टोनिया, कजाखस्तान, किर्गिस्तान, लिथुआनिया, ग्वाटेमाला, मालदीव, मंगोलिया, पराग्वे, ट्यूनिशिया, उजबेकिस्तान, ब्रिटेन, ब्राजील एवं ताइवान है। |
वास्तव में टूर आॅफ ड्यूटी का अस्तित्व सकेण्ड वर्ल्ड वार के समय आया जब इस वार में ब्रिटिश वायु सेना के अंदर पायलट की कमी हो गयी तब इस प्रोग्राम के तहत युवाओं को कम समय के लिए बहाल कर समस्या को दूर किया जिसके परिणाम लाभदायक सिद्ध हुए इस प्रयोग का अनुसरण उस समय के अन्य राष्ट्र ने भी अपनाया वर्तमान में विश्व के अधिकांश देश इस योजना के तहत ही अपने नागरिक से सैन्य सेवा ले रहे है। भारत में टूर आॅफ ड्यूटी का नाम अग्निपथ दिया गया है।
अग्निवीर के लिए पात्रता:
पात्रता: | अग्निवीर चयन प्रक्रिया के चरण: |
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1. भारत का नागरिक होना चाहिए। 2. आयु 17•5 वर्ष से 21 वर्ष (वर्ष 2022-2023 के लिए अधिकतम आयु 23 वर्ष है) 3. 8वीं, उत्तीर्ण हो। 4. 10वीं, उत्तीर्ण हो। 5. 12वीं उत्तीर्ण हो। | 1. शारीरिक दक्षता परीक्षा ( पीईटी:PET) 2. शारीरिक मापते 3. मेडिकल टेस्ट 4. लिखित परीक्षा |
अग्निवीर के लिए शैक्षणिक योग्यता: | अग्निवीर शारीरिक कद काठी कम से कम मापदंड: |
1. सामान्य ड्यूटी (GD): 45% अंकों के साथ 10वीं कक्षा पास परन्तु हर विषय में 33% अंक होना जरूरी। 2. तकनीकी सेवा विमानन यूनिट सहित: P C M व ENG में 50% अंकों के साथ 12वीं पास। 3. अग्निवीर क्लर्क या स्टोरकीपर: 60% अंकों के साथ 12वीं उत्तीर्ण परन्तु ENG व MATH में 50% अंक जरूरी। 4. अग्निवीर ट्रेड्समैन 10वीं पास: सभी विषय में 33% अंक के साथ 10वीं पास। 5. अग्निवीर ट्रेड्समैन 8वीं पास: सभी विषय में 33% अंक के साथ 8वीं पास। | सामान्य सिपाही: लंबाई 169 सेमी, वजन 50 किलो, छाती 77 सेमी ( फुलाकर 82 सेमी) • तकनीकि सिपाही: लंबाई 169 सेमी, वजन 50 किलो, छाती 77 सेमी ( फुलाकर 82 सेमी) • सिपाही क्लर्क: लंबाई 162 सेमी, वजन 50 किलो, छाती 77 सेमी ( फुलाकर 82 सेमी) • सिपाही स्टोर कीपर: लंबाई 162 सेमी, वजन 50 किलो, छाती 77 सेमी ( फुलाकर 82 सेमी) • सिपाही ट्रेड्समैन 10वीं पास:लंबाई 169 सेमी, वजन 50 किलो, छाती 76 सेमी ( फुलाकर 82 सेमी) • सिपाही ट्रेड्समैन 8 वीं पास: लंबाई 169 सेमी, वजन 50 किलो, छाती 76सेमी ( फुलाकर 81 सेमी) |
अग्निवीर के लिए आयु सीमा :
वर्ष 2022-2023 के आयु में 2 वर्ष की छूट दी गयी है। इसके बाद अधिकतम आयु 21 वर्ष ही रहेगी।
अग्निवीर के लिए प्रवेश परीक्षा में छूट:
कार्यरत सैनिक के बच्चे, पूर्व सैनिक के बच्चे, बलिदानी सैनिक के बच्चे, सैनिक की विधवा के बच्चें को सामान्य प्रवेश परीक्षा में 20 अंक बोनस के रूप में दिया जाएगा।
इसके अलावा NCC-A NCC-B प्रमाण-पत्र वालें विद्यार्थी को भी अंक मिलेंगे
अग्निवीर के लिए सलाना छुट्टी पात्रता:
अग्निवीर साल में मात्र 30 दिन की छुट्टी के हकदार होंगे।
अग्निवीरों को कैंटीन सुविधा, यात्रा सुविधा, चिकित्सा सुविधा सामान्य सैनिक की तरह प्राप्त होंगे।
नोट: 18 वर्ष से कम आयु के अग्निवीर उम्मीदवार के फार्म पर माता-पिता के हस्ताक्षर होंगे।
अग्निवीर से संबंधित अन्य सूचना के भारतीय सेना के वेबसाइट www•joinindianarmy•nic•in पर जाए
अग्निवीर के रुप में चार साल के लिए ही होगी सेना में भर्ती
अग्नीपथ योजना की घोषणा के साथ देश के युवाओं में जो आक्रोश था क्या वह वास्तविक था या सुनियोजित था? क्योंकि भारतीय वायुसेना के तहत अग्नीपथ योजना से इस साल लगभग 3000 वायु अग्नि वीर की बहाली करेगा इसके लिए आवेदन की प्रक्रिया समाप्त हो गई है आवेदन समाप्त होने पर वायुसेना के द्वारा कहा गया है कि इस योजना के तहत रिकॉर्ड आवेदन प्राप्त हुए हैं जो आवेदन प्राप्त हुए हैं उनकी संख्या 749899 है जबकि इससे पिछला आवेदन का रिकॉर्ड 6:30 लाख था आवेदनकर्ता के रिकॉर्ड आवेदन से यह पता चलता है कि इसका विरोध महज बहकावे में आकर किया गया था युवाओं ने इस योजना को समझने में तत्काल देरी कर दी।
तीनों सेनाओं में सैनिकों के स्तर पर भर्ती अब अग्निपथ योजना के तहत अग्निवीर के रुप में चार साल के लिए ही होगी। चार साल की सेवा के बाद हर बैच के 25 फीसद अग्निवीरों की तीनों सेनाओं में तय प्रक्रिया के हिसाब से स्थाई भर्ती होगी और 75 फीसद अग्निवीर बाहर आकर वैकल्पिक कैरियर का रास्ता चुनेंगे। केंद्र सरकार के कई मंत्रालयों, पीएसयू से लेकर तमाम राज्य सरकारों व कारपोरेट जगत ने अग्निवीरों को चार साल बाद सेना से वापस आने पर अपने संगठनों के रोजगार में वरीयता देने का आश्वासान दिया है।
चार साल की सेवा के बाद अग्निवीरों के लिए कहां और कितना अवसर है।
जैसा कि अग्नीपथ योजना में बताया गया है कि आवेदन करता रश्मि और बारहवीं कक्षा दिन होंगे अग्नि वीरों की भर्ती दसवीं कक्षा के आधार पर होगी उन्हें 4 साल के बाद कौशल के आधार पर डिप्लोमा सर्टिफिकेट कोर्स किया जाएगा एवं उसे एन ओ आई एस के माध्यम से 12 वीं कक्षा की पढ़ाई करवाई जाएगी जो अभी 12वीं की पढ़ाई करने के बाद तीनों सेना में शामिल होंगे उनके लिए यूजीसी के द्वारा कोर्स प्रारंभ किए जाएंगे विशेष कोर्स डिजाइन करने की जिम्मेदारी IGNOU को दी गई है इस विशेष कोर्स में 50% कौशल पर जोड़ दिया जाएगा शेष 50% में भाषा, विज्ञान, सामाजिक विज्ञान, इतिहास समाजशास्त्र, अर्थशास्त्र, लोक प्रशासन जैसे अनेकों विषयों का समावेश किया जाएगा इनके लिए संचार तंत्र एवं पर्यावरण अध्ययन अनिवार्य विषय के रूप में शामिल किया जाएगा। अग्नि वीरों के कौशल को यूजीसी विश्वविद्यालय अनुदान आयोग मान्यता देगा तीन वर्षयी स्नातक कोर्स में दाखिला का विशेष प्रावधान किया जाएगा। अग्नि वीरों को अर्धसैनिक बलों अर्थात केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल सीएपीएफ और असम राइफल्स में प्राथमिकता दी जाएगी यह कहना राष्ट्रीय गृह मंत्री का है। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री ने कहा है कि प्रदेश में होने वाली पुलिस ने भर्तियों में अपनी वीरों को प्राथमिकता दी जाएगी। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री ने कहा है कि प्रदेश में होने वाली पुलिस ने भर्तियों में अपनी वीरों को प्राथमिकता दी जाएगी। अग्नि वीरों के लिए शिक्षा मंत्रालय 3 वर्षीय विशेष डिग्री कोर्स तैयार करेगा जिसकी जिम्मेदारी इग्नू को दी गई है कोर्स का डिजाइन इस प्रकार से होगा कि इसमें 50% कौशल विकास एवं 50% भाषा विज्ञान एवं अन्य विषयों से संबंधित होगा जिसमें अनिवार्य रूप से पर्यावरण अध्ययन और संचार कौशल को शामिल किया जाएगा इस पोस्ट की विशेष विशेषता यह है कि इसे यूजीसी व एआईसीटीई सहित सभी नियामक दक्षिणी संस्थाओं से मान्यता मिलेगी इग्नू के द्वारा डिजाइन कोर्स के लिए जल्द ही तीनों सेनाओं के साथ समझौता किया जाएगा 50% विषय में भाषा इतिहास अर्थशास्त्र राजनीतिक विज्ञान समाजशास्त्र लोक प्रशासन व ज्योतिष जैसे प्रमुख विषयों को शामिल किया जाएगा। रक्षा और गृह मंत्रालय में अग्निवीरों को 10% आरक्षण दिया जाएगा यह आरक्षण पूर्व सैनिकों के कोटा से अलग होगा। तटरक्षक बल और सिविल डिफेंस से लेकर 16 पीएसयू में मिलेगी नौकरियों में प्राथमिकता। जहाजरानी मंत्रालय ने नौसैनिक अग्निवीर को मर्चेंट नेवी में आकर्षक में नौकरी का मौका देने की बात कही है। मध्य प्रदेश सरकार ने पुलिस व अन्य विभागों की भर्तियों में अग्निवीरों को प्राथमिकता देने की बात कही है। हरियाणा सरकार ने पुलिस व अन्य विभागों की भर्तियों में अग्निवीरों को प्राथमिकता देने की बात कही है। असम सरकार ने पुलिस व अन्य विभागों की भर्तियों में अग्निवीरों को प्राथमिकता देने की बात कही है। सरकार के साथ-साथ देश के प्रमुख औद्योगिक घरानों ने भी अग्निवीरों को 4 साल के बाद अच्छी नौकरी का भरोसा दिया है जिसमें महिंद्रा समूह, आरपीजी, बायोकॉन, अडानी और एचयूएल एवं टाटा समूह शामिल है। नॅट:- अग्निवीरों को 10% आरक्षण दिया जाएगा यह आरक्षण पूर्व सैनिकों के कोटा से अलग होगा। विभिन्न मंत्रालयों एवं विभागों के द्वारा दिए गए आश्वासन से यह पता चलता है कि 4 साल की सेवा के बाद अग्नि वीरों को भी अन्य क्षेत्र में उतने ही मौके प्राप्त होंगे जितने की सामान्य नागरिकों को है क्योंकि 23 साल की उम्र तक वह सेना से बाहर आ जाएंगे तब तक वह शारीरिक, मानसिक, भावात्मक एवं धन के सुरक्षात्मक पक्ष के रूप से मजबूत होंगे। उनके पास कैरियर के अनेकों विकल्प होंगे जिन्हें आसानी से चुन सकते हैं। |
पूर्व सैनिकों के लिए आरक्षण की व्यवस्था
पूर्व सैनिकों के लिए ग्रुप सी में 10% और ग्रुप डी में 20% नौकरियां आरक्षित हैं लेकिन असल में 1.29% और 1.66% ही नौकरी पा सके है।
केंद्रीय बलों में पूर्व सैनिकों को 10% नौकरियां देने की बात कही गई है। लेकिन 1% से भी कम पूर्व सैनिकों को नौकरी मिली है।
नोट : इसके अलावा राज्य सरकार के अंतर्गत पूर्व सैनिकों को नौकरियों में आयु सीमा में छूट संबंधी आरक्षण दिया गया है अलग-अलग राज्यों में आरक्षण की अलग-अलग व्यवस्था है।
Agneepath योजना और जाति विवाद :
अग्निपथ योजना को लेकर फिर से राजनीति गरमाने लगी है इसका मुख्य कारण अग्नीपथ भर्ती योजना में जाति और धर्म प्रमाण पत्र मांगने से है है जिसको लेकर सत्ता पक्ष के साथ-साथ विपक्ष भी कई तरह के सवाल उठा रहा है ।
रक्षा मंत्रालय के मुखिया ने कहा है इस योजना के तहत जो भी भर्ती प्रक्रिया हो रही है उसमें किसी भी प्रकार का बदलाव नहीं किया गया है आजादी के पहले से चली आ रही भर्ती प्रक्रिया पर ही भर्ती की जा रही है।1949 से चली आ रही व्यवस्था ही कायम है, कोई बदलाव नहीं हुआ है।
सेना के बयान :
सैन्य भर्ती में जाति व धर्म प्रमाण पत्र मांगे जाने पर सेना ने कहा है की। अग्निपथ योजना के तहत सैन्य भर्ती प्रक्रिया में कोई बदलाव नहीं किया गया है। पहले भी जाति व धर्म प्रमाण पत्र मांगा जाता रहा है। सैन्य भर्ती में धर्म प्रमाण पत्र मांगे जाने पर सेना के एक अधिकारी ने कहा कि प्रशिक्षण व तैनाती के दौरान शहीद होने वाले सैनिकों का अंतिम संस्कार करने के लिए धर्म का पता होना आवश्यक होता है। इससे उनका अंतिम संस्कार उसी धर्म के मुताबिक किया जाता है।
सेना भर्ती से संबंधित 2013 में सुप्रीम कोर्ट में एक जनहित याचिका दायर हुई थी। इसके जवाब में सेना ने कहा था कि यह एक प्रक्रिया बस है।
सेना में जाति के अधार पर भर्ती नहीं होती है, हालांकि, रिकॉर्ड के तौर पर प्रमाणपत्र जरूर मांगा जाता है।
सेना बहाली में आवेदन के लिए जरूरी दस्तावेजों की लिस्ट : दस्तावेजों में
1. मूल निवासी प्रमाण पत्र,
2. जाति प्रमाण पत्र,
3. स्कूल प्रमाण पत्र,
4. चरित्र प्रमाण पत्र सहित
5. अन्य डॉक्युमेंट्स
नोट : सेना बहाली में आरक्षण का कोई प्रावधान ही नहीं है।
बिहार में अग्निवीर भर्ती सेंटर :
बिहार में अग्निवीर के चार भर्ती केंद्र है
1. मुजफ्फरपुर : मुजफ्फरपुर भर्ती केंद्र के अंतर्गत आने वाले जिले। मुजफ्फरपुर, दरभंगा, समस्तीपुर, मधुबनी, पश्चिमी चंपारण, पूर्वी चंपारण, सीतामढ़ी और शिवहर।
2. दानापुर : दानापुर भर्ती केंद्र के अंतर्गत आने वाले जिले। पटना, बक्सर, भोजपुर,सिवान, सारण, गोपालगंज और वैशाली।
3. गया : गया भर्ती केंद्र के अंतर्गत आने वाले जिले। गया, अरवल, औरंगाबाद, जमुई, जहानाबाद, कैमूर, लखीसराय, नालंदा, नवादा, रोहतास और शेखपुरा
4. कटिहार : कटिहार भर्ती केंद्र के अंतर्गत आने वाले जिले। बांका,भागलपुर, मुंगेर,पूर्णिया, बेगूसराय, अररिया, किशनगंज, मधेपुरा, सहरसा, सुपौल, कटिहार, खगड़िया ।
उपरोक्त केंद्र के अलावा कभी-कभी विभिन्न जिलों में अलग से रैलियों का आयोजन किया जाता रहा है।
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